रायपुर। बिलासपुर हाईकोर्ट ने रायपुर के विधानसभा रोड किनारे अतिक्रमण को लेकर राज्य सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। चीफ जस्टिस ने बेतरतीब तरीके से खड़े होने वाले भारी वाहनों, अतिक्रमण और जर्जर सड़क को लेकर राज्य सरकार से पूछा है कि बदहाल सड़कों पर वीवीआइपी सुरक्षा व्यवस्था के साथ आना-जाना कर सकते हैं। लेकिन, यहां से आम आदमी भी गुजरते हैं। उनकी सुरक्षा की जिम्मेदारी कौन लेगा।
विधानसभा जाने वाली सड़क की खस्ताहाल हालत के कारण जगह-जगह गड्ढे बन गए हैं। जिसके कारण इस रास्ते पर धूल का गुबार उड़ता रहता है। हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा ने इसे गंभीरता से लेते हुए जनहित याचिका के रूप में सुनवाई शुरू की है। बुधवार को केस की सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस ने राज्य शासन के वकील से पूछा कि रोड किनारे वाहन खड़ा करने की अनुमति किसने दिया है। इसकी देखरेख की जिम्मेदारी है या नहीं। अगर दुर्घटना घट जाए तो इसके लिए जिम्मेदार कौन होगा।
चीफ जस्टिस ने सरकार से यह भी पूछा है कि यह नेशनल हाईवे है या स्टेट हाईवे। सरकारी वकील ने जब जवाब दिया कि यह रिंग रोड है। तब उन्होंने कहा कि जो भी जिम्मेदार हैं उन्हें आम लोगों के जीवन की परवाह है भी या नहीं। सड़कों की हालत कब सुधरेगी, खंभों पर बिजली कब तक लगेगी और सड़क किनारे भारी वाहनों को हटाने को लेकर चीफ जस्टिस ने राज्य शासन को शपथ पत्र के साथ जवाब प्रस्तुत करने के लिए कहा है।